US Illegal Immigrants News: हाल ही में एक घटना ने भारत और अमेरिका के बीच प्रवासी मुद्दे को फिर से चर्चा में ला दिया है। दरसल एक अमेरिकी विमान में, अमेरिका गए कई भारतीय प्रवासीयों को वापस भारत भेजा गया है। दावा किया गया है की ये सभी भारतीय प्रवासी (US Illegal Immigrants) अवैध रूप से अमेरिका गए हुवे थे। इसके अलावा अमेरिकी प्रशासन का कहना है कि वह आगे भी अवैध प्रवासियों की पहचान कर, उन्हें उनके देश वापस भेजने की प्रक्रिया जारी रखेगा।
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इस पर घटना भारत सरकार ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने संसद में कहा कि भारत सरकार इस मामले पर अमेरिका के साथ संपर्क में है और सुनिश्चित करेगी कि निष्कासित प्रवासियों के साथ सम्मानजनक व्यवहार हो। विशेषज्ञों का मानना है कि इस मुद्दे के चलते दोनों देशों के प्रवासी नीतियों में बदलाव हो सकता है।
US Illegal Immigrants: भारत में फर्जी दस्तावेज़ों पर कानूनी कार्रवाई
भारत में फर्जी दस्तावेज़ों के मामले पर सख्त नियम लागू हैं। दिल्ली बार काउंसिल के अध्यक्ष के.के. मानन ने कहा कि यदि प्रवासी वैध दस्तावेजों के साथ यात्रा कर रहे हैं, तो उनके खिलाफ कोई कानूनी कार्रवाई नहीं होगी। लेकिन नकली दस्तावेज़ या पासपोर्ट के उपयोग पर पासपोर्ट अधिनियम के तहत सख्त कार्रवाई हो सकती है। वरिष्ठ अधिवक्ता अतुल नंदा ने बताया कि अधिकतर US Illegal Immigrants (भारतीय प्रवासी) निम्न वर्ग से आते हैं और ट्रैवल एजेंटों के झूठे वादों का शिकार बनते हैं। ऐसे मामलों में जागरूकता फैलाना जरूरी है ताकि गरीब वर्ग इस तरह की धोखाधड़ी से बच सके।
US Visa Ban: अमेरिका समेत कई देशों में वीजा प्रतिबंध
हाल ही में अमेरिका समेत कई देशों ने प्रवासियों के लिए वीजा नियमों को सख्त कर दिया है। अधिवक्ता कमलेश मिश्रा के अनुसार, यदि प्रवासी किसी आपराधिक गतिविधि में संलिप्त नहीं हैं, तो उनके दस्तावेज़ केवल सत्यापित किए जाएंगे। लेकिन निष्कासन के बाद अमेरिका, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया और यूरोपीय देशों का वीजा पाना बेहद मुश्किल होगा। अमेरिकी वाणिज्य दूतावास के नियमों के तहत, निष्कासित प्रवासी दस वर्षों तक वीजा के लिए आवेदन नहीं कर सकते। यह नियम अवैध प्रवासियों के लिए बड़ा झटका साबित हो सकता है, जिससे उनकी विदेश यात्रा पर रोक (US visa ban) लग सकती है।
डंकी सिस्टम और अवैध प्रवास का सच, जानें सरकार की सख्ती
पंजाब और हरियाणा जैसे राज्यों में ट्रैवल एजेंट गरीब परिवारों को विदेश में शानदार जिंदगी का सपना दिखाकर फंसाते हैं। ये एजेंट लाखों रुपये वसूलने के बाद प्रवासियों को डंकी सिस्टम के तहत अवैध और खतरनाक Donkey Route से भेजते हैं। कंटेनरों में बंद होकर या जोखिम भरे रास्तों से यात्रा करना इन लोगों के लिए जानलेवा साबित हो सकता है। परिवार अपनी जमा-पूंजी इन एजेंटों को दे देते हैं, लेकिन बदले में मिलता है दर्द और आर्थिक संकट। बेहतर जागरूकता और सख्त कानूनी कार्रवाई से ही इस धोखाधड़ी को रोका जा सकता है।
क्यों होता है Donkey Route
Donkey Route वह अनियमित मार्ग है जिसका उपयोग लोग गैरकानूनी तरीके से विदेश जाने के लिए करते हैं। पंजाब में “डंकी” का अर्थ उछल-कूद कर एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुंचना होता है, इसी से इस रूट का नाम पड़ा। यह मार्ग भारत से होकर कनाडा, अमेरिका और ब्रिटेन जैसे देशों तक जाता है। पहले इस रूट का इस्तेमाल अपराधी भागने के लिए करते थे, लेकिन अब विदेश में बसने का सपना देखने वाले हजारों लोग इसका सहारा ले रहे हैं। हालांकि, यह मार्ग खतरनाक होता है और कई जोखिमों से भरा हुआ है।
सरकार की सख्ती, अवैध एजेंटों पर कार्रवाई
पंजाब पुलिस और गृह मंत्रालय ने डंकी सिस्टम से जुड़े मामलों पर सख्ती दिखाते हुए अब तक 38 एफआईआर दर्ज की हैं। अवैध ट्रैवल एजेंटों के खिलाफ लगातार कार्रवाई की जा रही है। सरकार सोशल मीडिया पर भी नजर रख रही है और अवैध प्रवास को बढ़ावा देने वाले पोस्ट हटाने की पहल कर रही है। इसके अलावा, लोगों को सुरक्षित और वैध प्रवास के प्रति जागरूक किया जा रहा है। अमेरिका से भारतीय प्रवासियों की वापसी ने इस समस्या को फिर उजागर किया है, जिसे जड़ से खत्म करने के लिए ठोस कदम उठाना समय की मांग है।
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