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नामरता बोरा की रहस्यमयी मौत से उठा सवालों का तूफान, हादसा या गहरी साजिश? परिवार ने उठाए कई सवाल

Namrata Bora mysterious death news

Namrata Bora Mysterious Death: मेघालय में एक के बाद एक सामने आ रहे रहस्यमयी मामलों ने राज्य की कानून व्यवस्था और पुलिस जांच पर गंभीर प्रश्नचिन्ह लगा दिए हैं। ताजा मामला है असम की 25 वर्षीय लॉ इंटर्न नामरता बोरा की असमय मृत्यु का, जिसे आधिकारिक तौर पर एक “सड़क हादसा” बताया गया है, लेकिन परिवार ने इसे साफ तौर पर साजिश बताया है।

यह घटना मेघालय के री-भोई जिले में स्थित चांगबांगला क्षेत्र की है, जहां बुधवार तड़के नामरता की मौत हो गई। हादसे के वक्त वे AIUDF नेता अनायतुल वदूद और तीन अन्य दोस्तों के साथ शिलॉन्ग से लौट रही थीं।

Namrata Bora Mysterious Death: क्या है हादसे की पूरी कहानी

नामरता, जो गुवाहाटी के रुकीनीगांव में रहती थीं, मंगलवार को शिलॉन्ग घूमने गई थीं। उनकी यात्रा में उनके साथ अनायतुल वदूद के अलावा मृगांका बोरा, प्रज्ञा डिहिंगिया और गायत्री बोरा भी शामिल थे। बताया जा रहा है कि सुबह करीब 4:15 बजे उनकी गाड़ी चांगबांगला में दुर्घटनाग्रस्त हो गई। चार अन्य यात्रियों को मामूली चोटें आईं, लेकिन Namrata Bora case में सबसे हैरान करने वाली बात यह रही कि सिर्फ नामरता की मौत हुई।

नामरता बोरा केस को लेकर परिवार की शंका गंभीर है। नामरता के भाई ऋषभानंदा बोरा ने नोंगपोह थाने में एफआईआर दर्ज कराते हुए चारों साथियों को संदेह के घेरे में रखा है। वहीं, एक और एफआईआर असम के दिसपुर थाने में भी की गई है। परिवार ने खासतौर पर इस बात पर सवाल उठाया है कि अनायतुल और गायत्री दुर्घटना स्थल से क्यों भाग गए? अगर यह सिर्फ एक हादसा था, तो भागने की जरूरत क्यों पड़ी?

पिता की अपील: कहानी में कई विरोधाभास

नामरता के पिता रमेन बोरा ने बताया कि मंगलवार रात बेटी ने फोन किया था और सब सामान्य था। लेकिन बुधवार सुबह उन्हें बताया गया कि वह एक्सीडेंट में चल बसी। उन्होंने कहा, “अगर नामरता सूर्योदय देखने गई थी, तो वह अपना आईफोन कमरे में क्यों छोड़ गई? और साधारण कपड़ों में क्यों निकली, जबकि वह हमेशा सज-संवरकर बाहर जाती थी?” इन सवालों ने Namrata Bora mysterious death को और गहराई दी है।

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पुलिस जांच के घेरे में दोस्त, वाहन की पहचान भी हुई

हादसे में शामिल वाहन असम नंबर (AS 01 EV 9578) का था। पोस्टमार्टम के बाद नामरता का शव परिवार को सौंप दिया गया। फिलहाल चारों दोस्तों को पुलिस ने पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है। मेघालय पुलिस अब इस मामले की तह तक जाने की कोशिश कर रही है, लेकिन जनता और परिवार की नजरें इस बात पर टिकी हैं कि क्या सच सामने आएगा?

मुख्यमंत्रियों ने किया निष्पक्ष जांच की मांग

Namrata Bora case में राजनीतिक हलचल भी तेज हो गई है। असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने X पर पोस्ट करते हुए निष्पक्ष जांच की मांग की है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यह मामला सिर्फ हादसे तक सीमित नहीं रहना चाहिए। मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा ने भी पुलिस को इस मामले की जांच में तेजी लाने का निर्देश दिया है।

आपको बता दें की नामरता की मौत से पहले भी एक और मामला सामने आया था, जब हनीमून मनाने आए राजा रघुवंशी की लाश खाई में मिली और उनकी पत्नी सोनम को गिरफ्तार किया गया। इन दोनों मामलों ने मेघालय की कानून व्यवस्था पर गहरी चिंता खड़ी कर दी है।

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क्या मिलेगा नामरता को न्याय?

नामरता बोरा की रहस्यमई मौत (Namrata Bora mysterious death) सिर्फ एक कानून छात्रा की मौत नहीं है, यह एक युवा की आकस्मिक समाप्ति के पीछे छिपे सच की तलाश है। जब तक जांच पूरी पारदर्शिता से नहीं होगी, तब तक न परिवार को संतोष मिलेगा और न ही जनता का भरोसा लौटेगा।

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